वाह लोकतंत्र ! जिनके विरोध में रातभर संसद में धरना, वही सुबह पहुंचे चाय के प्याले लेकर

धरने पर बैठे सांसदों को चाय पिलाते हरिवंश नारायण सिंह।

नेताओं की बातें निराली होती हैं। राज्यसभा में रविवार को माइक तोड़ने वाले, रूल बुक फाड़ने वाले, मेज पर चढ़ने वाले, बिल फाड़ने वाले सदस्यों को जब सभापति वैंकेया नायडू ने एक सप्ताह के लिए सत्र से निलंबित किया तो वो संसद में धरने पर बैठ गए। गांधी मूर्ति के आगे सोमवार को रातभर पंखें लगाकर घर से आईं चदरों और तकियों पर सुस्ताते रहे, लेकिन सुबह जो हुआ, उसने सबको आश्चर्य में डाल दिया।

जिन उप सभापति हरिवंश नारायण सिंह के खिलाफ तृणमूल कांग्रेस के सांसद डेरेक ओ ब्रायन व डोला सेन, कांग्रेस के राजीव सातव, सैयद नजीर हुसैन व रिपुन बोरा, आम आदमी पार्टी के संजय सिंह और माकपा से केके रागेश व इलामारम करीम धरने पर बैठे थे, वही हरिवंश सुबह उनके लिए घर से चाय लेकर पहुंचे। उप सभापति हरिवंश ने स्वयं सभी सांसदों को चाय पिलाई। उम्मीद है, उप सभापति के हाथों घर की चाय पीकर इन सांसदों को रविवार के अपने व्यवहार पर थोड़ा पछतावा होगा।

जनवरी 2014 में संसद भवन से कुछ ही कदम दूर रेल भवन के सामने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल रातभर धरने पर बैठे थे। तब उप राज्यपाल नजीब जंग ने उनके लिए सुबह गर्मागर्म परांठे भिजवाए थे।